सुखसुविधा की खोजमें भागदौड़ ने हमारे जीवनसे स्वस्थ व शांति को छीन, हमें विचलित कर दिया। तन, मन व वातावरण सहित पूरा परिवेश पश्चिमकी भेंट चढ़ गया है। उसे सही मार्ग पर लाने हेतु खानपान, रहनसहन, रीतिरिवाज़ सहित संस्कारित करने हेतु तत्त्वज्ञान, वास्तु,योग, आयुर्वेद का अनुसरण कर हम अपने जीवनको उचित शैली में ढाल सकते हैं। यदि आप इस विषयमें विशेष योग्यता रखते है, लिखें, निस्संकोच ब्लॉग पर टिप्पणी/अनुसरण/निशुल्क सदस्यता व yugdarpan पर इमेल/चैट करें,संपर्कसूत्र-तिलक संपादक युगदर्पण 09911111611, 9999777358.

बिकाऊ मीडिया -व हमारा भविष्य

: : : क्या आप मानते हैं कि अपराध का महिमामंडन करते अश्लील, नकारात्मक 40 पृष्ठ के रद्दी समाचार; जिन्हे शीर्षक देख रद्दी में डाला जाता है। हमारी सोच, पठनीयता, चरित्र, चिंतन सहित भविष्य को नकारात्मकता देते हैं। फिर उसे केवल इसलिए लिया जाये, कि 40 पृष्ठ की रद्दी से क्रय मूल्य निकल आयेगा ? कभी इसका विचार किया है कि यह सब इस देश या हमारा अपना भविष्य रद्दी करता है? इसका एक ही विकल्प -सार्थक, सटीक, सुघड़, सुस्पष्ट व सकारात्मक राष्ट्रवादी मीडिया, YDMS, आइयें, इस के लिये संकल्प लें: शर्मनिरपेक्ष मैकालेवादी बिकाऊ मीडिया द्वारा समाज को भटकने से रोकें; जागते रहो, जगाते रहो।।: : नकारात्मक मीडिया के सकारात्मक विकल्प का सार्थक संकल्प - (विविध विषयों के 28 ब्लाग, 5 चेनल व अन्य सूत्र) की एक वैश्विक पहचान है। आप चाहें तो आप भी बन सकते हैं, इसके समर्थक, योगदानकर्ता, प्रचारक,Be a member -Supporter, contributor, promotional Team, युगदर्पण मीडिया समूह संपादक - तिलक.धन्यवाद YDMS. 9911111611: :
Showing posts with label सुधार. Show all posts
Showing posts with label सुधार. Show all posts

Sunday, March 24, 2013

होली की हार्दिक बधाई व शुभकामनायें,

होली की हार्दिक बधाई व शुभकामनायें, 
सभी क्षेत्रवासियों, प्रदेशवासियों सहित देश विदेश में बसे समस्त हिन्दू समाज को होली की हार्दिक बधाई, युगदर्पण परिवार YDMS की ओर से हार्दिक शुभकामनायें, 
वन्देमातरम, होली पारंपरिक प्रेम से मनाएं, पारंपरिक पर्वों को अरूचिकर बनाने के विदेशी कुचक्रो से, अभद्रता व नशे को नहीं, सादगी व सोम्यता को अपनाएं। अपनी संस्कृति अपनी धरोहर से राष्ट्र तथा राष्ट्र से ही हम हैं। आधुनिकता फैशन या परम्परा नकारने में नहीं, परम्पराओं  को आधुनिक धरातल देने में है। अपनी संस्कृति के आधुनिक रक्षक बने, युगदर्पण मीडिया समूह YDMS परिवार में आप भी जुड़ें:-  
नकारात्मक मीडिया के सकारात्मक विकल्प का सार्थक संकल्प - (विविध विषयों के 28 ब्लाग, 5 चेनल व अन्य सूत्र) की एक वैश्विक पहचान है। 
तिलक 9911111611, yugdarpan.com 
http://yuvaadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_23.html
http://raashtradarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://samaajdarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://dharmsanskrutidarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_23.html
http://satyadarpan.blogspot.in/2013/03/ydms-28-5-9911111611-yugdarpan.html
http://vishvadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post.html
http://shikshaadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post.html
http://gyaanvigyaandarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://paryaavarandarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post.html
http://paryatandharohardarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://kaaryakshetradarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://mahilaagharparivaardarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_24.html
http://antarikshadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post.html
पूरा परिवेश पश्चिम की भेंट चढ़ गया है | उसे संस्कारित, योग, आयुर्वेद का अनुसरण कर हम अपने जीवन को उचित शैली में ढाल सकते हैं | आओ मिलकर इसे बनायें; - तिलक

Sunday, March 10, 2013

ऐ दिल तूँ हताश न हो !

ऐ दिल तूँ हताश न हो !
देश की वर्तमान दुर्दशा से कई बार कई मित्र हताश हो जाते हैं 
चल सभ्यता की ढहती दीवार से हम कहीं दूर चलें ये कहते हैं मित्रो,
                     ऐ दिले बेकरार तू हताश न हो के ये दिन डूब गया, 
                     रात भर का है मेहमान अँधेरा किसके रोके रुका है सवेरा 
दूर जाकर भी जब चैन नहीं पाया तब मेरे मित्र बताओ कहाँ जाओगे, 
अच्छा या बुरा जैसा भी है समाज मेरा है सुधारना ही लक्ष्य है मेरा; 
घर किराये का नहीं है मेरा अपना ही, साफ करने का सोचना है मुझे,
सोने की चिड़िया के पर नोच दिए दुष्टों ने, दवा इसको लगाना है मुझे। 
-तिलक YDMS, 9911111611. 
"अंधेरों के जंगल में, दिया मैंने जलाया है |
इक दिया, तुम भी जलादो; अँधेरे मिट ही जायेंगे ||" युगदर्पण

http://satyadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post.html
http://samaajdarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_10.html
http://raashtradarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_10.html
http://yuvaadarpan.blogspot.in/2013/03/blog-post_10.html

विश्वगुरु रहा वो भारत, इंडिया के पीछे कहीं खो गया | इंडिया से भारत बनकर ही, विश्व गुरु बन सकता है; - तिलक
पूरा परिवेश पश्चिम की भेंट चढ़ गया है | उसे संस्कारित, योग, आयुर्वेद का अनुसरण कर हम अपने जीवन को उचित शैली में ढाल सकते हैं | आओ मिलकर इसे बनायें; - तिलक